निर्वाण मन्दिर, कुशीनगरकुशीनगर पूर्वी उत्तर प्रदेश के गोरखपुर ज़िले से 51 किमी की दूरी पर स्थित है। किंवदंती के अनुसार यह नगर श्री रामचन्द्र जी के ज्येष्ठ पुत्र कुश द्वारा बसाया गया था। कुशीनगर बुद्ध के 'महापरिनिर्वाण' का स्थान है। निर्वाण के पूर्व कुशीनगर पहुँचने पर तथागत (बुद्ध) कुशीनगर में कमलों से सुशोभित एक तड़ाग के पास उपवन में ठहरे थे।{{#icon: Redirect-01.gif|ध्यान दें}}अधिक जानकारी के लिए देखें:-कुशीनगर
गुरु गोविंद सिंहगुरु गोविंद सिंह के जन्म के समय भारत पर मुग़लों का शासन था। हिन्दुओं को मुस्लिम बनाने के लिए औरंगज़ेब के अत्याचार बढ़ रहे थे। इसी समय 22 दिसंबर, सन 1666 ई. को गुरु तेगबहादुर सिंह की धर्मपत्नी 'गूजरी देवी' ने एक सुंदर बालक को जन्म दिया, जो गुरु गोविंद सिंह के नाम से विख्यात हुआ। बचपन में सभी लोग गोविंद जी को 'बाला प्रीतम' कहकर बुलाते थे।{{#icon: Redirect-01.gif|ध्यान दें}}अधिक जानकारी के लिए देखें:-गुरु गोविंद सिंह
{किस सिक्ख गुरु ने 'अमृत सरोवर' (अब अमृतसर) नामक एक नये नगर की स्थापना की?
गुरु रामदासगुरु रामदास के समय में लोगों से 'गुरु' के लिए चंदा या दान लेना शुरु हुआ। वे बड़े साधु स्वभाव के व्यक्ति थे। इस कारण सम्राट अकबर भी उनका सम्मान करता था। गुरु रामदास के बाद गुरु की गद्दी वंश-परंपरा में चलने लगी। उन्होंने अपने पुत्र गुरु अर्जुन देव को अपने बाद गुरु नियुक्त किया।{{#icon: Redirect-01.gif|ध्यान दें}}अधिक जानकारी के लिए देखें:-गुरु रामदास
पुष्कर झील, अजमेरयहाँ की वास्तु धरोहरों में एक प्राचीन जैन मन्दिर (लगभग 1200 ई. पू. में इसे एक मस्जिद में बदल दिया गया), ख़्वाजा मुइनुद्दीन चिश्ती (मृ. 1236) की सफ़ेद संगमरमर से निर्मित दरग़ाह और अब संग्रहालय बन चुका अकबर का महल (1556 से 1605 तक मुग़ल बादशाह) शामिल है। यह शहन राजपूतों (ऐतिहासिक राजपूताना के क्षत्रिय शासक) के ख़िलाफ़ मुसलमान शासकों की सैन्य चौकी था।{{#icon: Redirect-01.gif|ध्यान दें}}अधिक जानकारी के लिए देखें:-अजमेर