"फूलगोभी": अवतरणों में अंतर
भारत डिस्कवरी प्रस्तुति
गोविन्द राम (वार्ता | योगदान) छो (Adding category Category:वनस्पति (को हटा दिया गया हैं।)) |
व्यवस्थापन (वार्ता | योगदान) छो (Text replace - "|language=हिन्दी" to "|language=हिन्दी") |
||
पंक्ति 1: | पंक्ति 1: | ||
भारतवर्ष की शीतकालीन सब्ज़ियों में से फूलगोभी प्रमुख [[भारत की शाक-सब्ज़ी|सब्ज़ी]] मानी जाती है।<ref>{{cite web |url=http://opaals.iitk.ac.in/hindi/embed.jsp?url=information/saag/cauliflower.jsp&left=information/left.jsp |title= फूलगोभी |accessmonthday=[[26 अगस्त]] |accessyear=[[2010]] |authorlink= |format= |publisher=डिजिटल मण्डी |language=हिन्दी }}</ref> यह एक स्वादिष्ट सब्जी है। इसका वानस्पतिक नाम ब्रेसिका औलीरेशिया किस्म, बोट्राइटिस है। फूलगोभी का जन्म स्थान कुछ लोग साइप्रस तथा भूमध्य सागरीय क्षेत्र के आस-पास मानते हैं। डा. जेमसन सन 1822 में इसे [[इंग्लैंड]] से लाये और कम्पनी बाग़ [[सहारनपुर]] में इसे उगाकर देखा। इसके बाद फूलगोभी देश के अन्य भागों में फैल गई। | भारतवर्ष की शीतकालीन सब्ज़ियों में से फूलगोभी प्रमुख [[भारत की शाक-सब्ज़ी|सब्ज़ी]] मानी जाती है।<ref>{{cite web |url=http://opaals.iitk.ac.in/hindi/embed.jsp?url=information/saag/cauliflower.jsp&left=information/left.jsp |title= फूलगोभी |accessmonthday=[[26 अगस्त]] |accessyear=[[2010]] |authorlink= |format= |publisher=डिजिटल मण्डी |language=[[हिन्दी]] }}</ref> यह एक स्वादिष्ट सब्जी है। इसका वानस्पतिक नाम ब्रेसिका औलीरेशिया किस्म, बोट्राइटिस है। फूलगोभी का जन्म स्थान कुछ लोग साइप्रस तथा भूमध्य सागरीय क्षेत्र के आस-पास मानते हैं। डा. जेमसन सन 1822 में इसे [[इंग्लैंड]] से लाये और कम्पनी बाग़ [[सहारनपुर]] में इसे उगाकर देखा। इसके बाद फूलगोभी देश के अन्य भागों में फैल गई। | ||
इसे सब्जी के अतिरिक्त अचार में भी इस्तेमाल किया जाता है।<ref>{{cite web |url=http://uttrakrishiprabha.com/wps/portal/!ut/p/kcxml/04_Sj9SPykssy0xPLMnMz0vM0Y_QjzKLN4j3dQLJgFjGpvqRINrNBybiCBFAKPFFiPh65Oem6gcBZSLNgSKGBs76UTmp6YnJlfrB-t76AfoFuaGhEeXejgBpzmUQ/delta/base64xml/L0lJSk03dWlDU1EhIS9JRGpBQU15QUJFUkVSRUlnLzRGR2dkWW5LSjBGUm9YZmcvN18wXzEwQw!!?WCM_PORTLET=PC_7_0_10C_WCM&WCM_GLOBAL_CONTEXT=/wps/wcm/connect/UAAP_HI/Home/Produce/Vegetable/%E0%A4%95%E0%A5%8B%E0%A4%B2+%E0%A4%B8%E0%A4%AC%E0%A5%8D%E0%A4%9C%E0%A5%80/%E0%A4%AB%E0%A5%82%E0%A4%B2%E0%A4%97%E0%A5%8B%E0%A4%AD%E0%A5%80/ |title= फूलगोभी |accessmonthday=[[26 अगस्त]] |accessyear=[[2010]] |authorlink= |format= |publisher=उत्तरा कृषि प्रभा|language=हिन्दी }}</ref> | इसे सब्जी के अतिरिक्त अचार में भी इस्तेमाल किया जाता है।<ref>{{cite web |url=http://uttrakrishiprabha.com/wps/portal/!ut/p/kcxml/04_Sj9SPykssy0xPLMnMz0vM0Y_QjzKLN4j3dQLJgFjGpvqRINrNBybiCBFAKPFFiPh65Oem6gcBZSLNgSKGBs76UTmp6YnJlfrB-t76AfoFuaGhEeXejgBpzmUQ/delta/base64xml/L0lJSk03dWlDU1EhIS9JRGpBQU15QUJFUkVSRUlnLzRGR2dkWW5LSjBGUm9YZmcvN18wXzEwQw!!?WCM_PORTLET=PC_7_0_10C_WCM&WCM_GLOBAL_CONTEXT=/wps/wcm/connect/UAAP_HI/Home/Produce/Vegetable/%E0%A4%95%E0%A5%8B%E0%A4%B2+%E0%A4%B8%E0%A4%AC%E0%A5%8D%E0%A4%9C%E0%A5%80/%E0%A4%AB%E0%A5%82%E0%A4%B2%E0%A4%97%E0%A5%8B%E0%A4%AD%E0%A5%80/ |title= फूलगोभी |accessmonthday=[[26 अगस्त]] |accessyear=[[2010]] |authorlink= |format= |publisher=उत्तरा कृषि प्रभा|language=[[हिन्दी]] }}</ref> | ||
==फ़ायदे== | ==फ़ायदे== | ||
*फूलगोभी में "सलफोराफीन" रसायन पाया जाता है जो सेहत के लिए, ख़ासकर दिल के लिए काफ़ी फ़ायदेमंद होता है। वैज्ञानिकों का मानना है कि इस रसायन की मदद से दिल को काफ़ी समय तक स्वस्थ्य रखा जाता है। | *फूलगोभी में "सलफोराफीन" रसायन पाया जाता है जो सेहत के लिए, ख़ासकर दिल के लिए काफ़ी फ़ायदेमंद होता है। वैज्ञानिकों का मानना है कि इस रसायन की मदद से दिल को काफ़ी समय तक स्वस्थ्य रखा जाता है। |
11:37, 8 मार्च 2011 का अवतरण
भारतवर्ष की शीतकालीन सब्ज़ियों में से फूलगोभी प्रमुख सब्ज़ी मानी जाती है।[1] यह एक स्वादिष्ट सब्जी है। इसका वानस्पतिक नाम ब्रेसिका औलीरेशिया किस्म, बोट्राइटिस है। फूलगोभी का जन्म स्थान कुछ लोग साइप्रस तथा भूमध्य सागरीय क्षेत्र के आस-पास मानते हैं। डा. जेमसन सन 1822 में इसे इंग्लैंड से लाये और कम्पनी बाग़ सहारनपुर में इसे उगाकर देखा। इसके बाद फूलगोभी देश के अन्य भागों में फैल गई। इसे सब्जी के अतिरिक्त अचार में भी इस्तेमाल किया जाता है।[2]
फ़ायदे
- फूलगोभी में "सलफोराफीन" रसायन पाया जाता है जो सेहत के लिए, ख़ासकर दिल के लिए काफ़ी फ़ायदेमंद होता है। वैज्ञानिकों का मानना है कि इस रसायन की मदद से दिल को काफ़ी समय तक स्वस्थ्य रखा जाता है।
- गोभी में गंधक बहुत मिलता है। कब्ज़ में रात को गोभी का रस पीने से लाभ होता है।
- गोभी में क्षारीय तत्त्व होते हैं। क्षय रोगी भी इसे खायें।
- गोभी खाते रहने से चर्म रोग, गैस, नाख़ून और बालों के रोग नष्ट होते हैं।
|
|
|
|
|