अति विशिष्ट सेवा पदक

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'अति विशिष्ट सेवा पदक

अति विशिष्ट सेवा पदक (अंग्रेज़ी: Ati Vishisht Seva Medal) सशस्त्र बलों के सभी रैंकों के लिए भारत सरकार का एक सैन्य पुरस्कार है यह पुरस्कार मरणोपरांत भी प्रदान किया जाता है। एक से अधिक बार यह पुरस्कार प्राप्त करने पर पदक के साथ एक पट्टिका जोड़ दी जाती है।

  • अति विशिष्ट सेवा पदक मूलतः विशिष्ट सेवा पदक, वर्ग द्वितीय के रूप में स्थापित किया गया था। इसे 27 जनवरी, 1967 को यह नाम दिया गया और बैज को दोबारा बदल दिया गया। 1980 से यह पदक मात्र गैर-परिचालन की सेवा के लिए दिया जाता है, क्योंकि परिचालन में विशिष्ट सेवाओं को पहचानने के लिए उत्तम युद्ध सेवा मेडल का प्रावधान किया गया था।[1]
  • यह पदक गोलाकार होता है और इसका व्यास 35 मि.मी. है। यह सादी आड़ी पट्‌टी पर लगा होता है। इसकी फिटिंग स्टैंडर्ड होती है। यह पदक उत्तम चांदी का बना हुआ है। इस पदक के सामने के हिस्से पर पांच नोकों वाला सितारा बना होता है और इसके पीछे की ओर राज्य चिह्न बना होता है तथा ऊपरी घेरे के पास इसका नाम खुदा होता है।
  • इसका फीता सुनहरे रंग का होता है और इस पर गहरे नीले रंग की दो सीधी रेखाएं होती हैं जो इसे तीन बराबर हिस्सों में विभाजित करती है।
  • यदि पदक विजेता को फिर से पदक पदान किया जाता है तो बहादुरी के इस कारनामे को सम्मानित करने के लिए पदक जिस फीते से लटका होता है, उसके साथ एक बार लगा दिया जाता है। यदि केवल फीता पहनना हो तो यह पदक जितनी बार प्रदान किया जाता है, उतनी बार के लिए फीते के साथ सरकार द्वारा अनुमोदित पैटर्न के अनुसार बनी इसकी लघु प्रतिकृति लगाई जाती है।
  • निम्नलिखित श्रेणियों के कार्मिक पदक प्राप्त करने के पात्र होंगे-
  1. सेना, नौसेना और वायु सेना तथा प्रादेशिक सेना यूनिटों, सहायक और रिजर्व सेना और कानूनी रूप से गठित अन्य सेनाओं के सभी रैंकों के अफसर और जवान (जब शामिल की जाएं)।
  2. सशस्त्र सेनाओं की नर्सिंग सेवा के नर्सिंग अफसर और अन्य कार्मिक।
  • यह पदक असाधारण कोटि की विशिष्ट सेवा के लिए प्रदान किया जाता है।
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टीका टिप्पणी और संदर्भ

  1. सम्मान और पुरस्कार के बारे में (हिंदी) indianairforce.nic.in। अभिगमन तिथि: 25 मई, 2020।

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