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ज्ञान का हिन्दी-महासागर
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भारत में, ताजमहल के बाद, सबसे ज़्यादा देखे और घूमे जाने वाले पर्यटन स्थलों में खजुराहो का नाम आता है।
खजुराहो के मंदिर भारतीय स्थापत्य कला का अद्भुत नमूना हैं। खजुराहो का प्राचीन नाम खर्जुरवाहक है।
खजुराहो में ख़ूबसूरत मंदिरो में की गई कलाकारी इतनी सजीव है कि कई बार मूर्तियाँ ख़ुद बोलती हुई मालूम होती हैं।
खजुराहो, महोबा से 54 किलोमीटर दक्षिण में, छतरपुर से 45 किलोमीटर पूर्व और सतना ज़िले से 105 किलोमीटर पश्चिम मध्य प्रदेश में स्थित है। .... और पढ़ें
अद्भुत भारत
भारत में मानव का सबसे पहला प्रमाण केरल से मिला है जो सत्तर हज़ार साल पुराना होने की संभावना है। जिसका आधार अफ़्रीक़ा के प्राचीन मानव से जैविक गुणसूत्रों (जीन्स) का मिलना है।<balloon title="'अ जेनेटिक ओडिसी' शोध ग्रंथ, प्रिन्सटन यूनिवर्सिटी प्रॅस, न्यू जर्सी, सं.रा.अमरीका" style=color:blue>*</balloon>
कबड्डी खेल का उद्भव प्रागैतिहासिक काल से माना जा सकता है, जब मनुष्य में आत्मरक्षा या शिकार के लिए प्रतिवर्ती क्रियाएँ विकसित हुईं। इस बात का उल्लेख एक ताम्रपत्र में है कि भगवान कृष्ण और उनके साथियों द्वारा कबड्डी खेला जाता था।
मांकड़ का अंदाज-ए-आउट बना नियम:- ऑस्ट्रेलिया के विरुद्ध सिडनी टेस्ट में भारतीय गेंदबाज़ वीनू मांकड़ ने विपक्षी बल्लेबाज को कुछ ऐसे आउट किया कि सब दंग रह गए। ... और पढ़ें
जीवन अविकल कर्म है, न बुझने वाली पिपासा है। जीवन हलचल है, परिवर्तन है; और हलचल तथा परिवर्तन में सुख और शान्ति का कोई स्थान नहीं। -भगवती चरण वर्मा (चित्रलेखा, पृ. 24)
विश्व सिनेमा में भारतीय फ़िल्मों को नई पहचान दिलाने वाले सत्यजित राय का जन्म 2 मई, 1921 को कलकत्ता (कोलकाता) में हुआ।
सत्यजित राय बीसवीं शताब्दी के विश्व की महानतम फ़िल्मी हस्तियों में से एक थे, जिन्होंने यथार्थवादी धारा की फ़िल्मों को नई दिशा देने के अलावा साहित्य, चित्रकला जैसी अन्य विधाओं में भी अपनी प्रतिभा का परिचय दिया।
सत्यजित राय फ़िल्म निर्माण से संबंधित कई काम ख़ुद ही करते थे; जिनमें निर्देशन, छायांकन, पटकथा, पार्श्व संगीत, कला निर्देशन, संपादन आदि शामिल हैं। फ़िल्मकार के अलावा वह कहानीकार, चित्रकार, फ़िल्म आलोचक भी थे।
सत्यजित राय ने सबसे ज़्यादा राष्ट्रीय फ़िल्म पुरस्कार जीते हैं। उन्होंने और उनके काम ने कुल 32 राष्ट्रीय फ़िल्म पुरस्कार प्राप्त किये।